सीएम हेल्पलाइन की तर्ज पर विश्वविद्यालय शुरू करेगा वीसी हेल्पलाइन, विद्यार्थी कर सकेंगे शिकायत
इंदौर
देवी अहिल्या विश्वविद्यालय के नालंदा परिसर में शुक्रवार को चुनाव के बाद कार्यपरिषद की पहली बैठक हुई। इसमें कई अहम मुद्दों पर चर्चा की गई। साथ ही छात्रों की सुविधा के लिए कई नई योजनाओं को स्वीकृति प्रदान की गई है। बैठक में विद्यार्थियों के लिए सीएम हेल्पलाइन की तर्ज पर वीसी हेल्पलाइन शुरू करने का फैसला किया गया। यहां पर छात्र अपनी शिकायतें दर्ज करवा सकेंगे। दरअसल, छात्रों को कई बार डिग्री, रिजल्ट, ट्रांस्क्रिप्ट और विश्वविद्यालय संबंधित शिकायतों के लिए इधर-उधर भटकना पड़ता है, लेकिन अब उन्हें छात्र सुनवाई के अलावा वीसी हेल्प लाइन की सुविधा दी जाएगी, जहां वे अपनी सभी प्रकार की शिकायत दर्ज कर सकेंगे। इसके लिए कुछ लोगों की नियुक्ति जल्द की जाएगी।
स्वर्ण जयंती छात्रवृत्ति की राशि बढ़ाई
देवी अहिल्या विश्वविद्यालय 60वीं वर्षगांठ मना रहा है, इसी को ध्यान में रखते हुए स्वर्ण जयंती छात्रवृत्ति को 15 हजार से बढ़ाकर 25 हजार रुपये विश्वविद्यालय द्वारा कर दिया गया है। यह इसी सत्र से लागू किया जाएगा। इसके अलावा बैठक में विश्वविद्यालय की मैनेजमेंट अध्ययनशाला, शिक्षा अध्ययनशाला एवं भौतिकी अध्ययनशाला के 15 खाली पदों पर 15 नए शिक्षकों की नियुक्ति की गई है। साथ ही आइईटी, आइएमएस और शिक्षा अध्ययनशाला में कार्यरत सात शिक्षकों को करियर एडवांसमेंट के तहत प्रमोशन किया गया है।
आयुष अध्ययनशाला की होगी स्थापना
विश्वविद्यालय में आयुष अध्ययनशाला की स्थापना की जाएगी। इसकी नोडल अधिकारी उपकुलसचिव रचना ठाकुर को बनाया गया है और सलाहकार के तौर पर भोपाल के डा. पीएन पाल चौधरी को नियुक्त किया जाएगा। डीएवीवी की प्रवेश परीक्षा सीयूईटी 2024 पर खर्च होने वाले 32 लाख रुपये के बजट को कार्यपरिषद ने मंजूर कर दिया है। कार्यपरिषद सदस्यों ने विश्वविद्यालय के लिए एक बस और एक एंबुलेंस के खरीदने के प्रस्ताव को सहमति प्रदान की है।
झाबुआ में बनेगा सिकलसेल एनीमिया केंद्र
कार्यपरिषद की बैठक में सिकलसेल एनीमिया केंद्र खोलने की बात रखी गई। इस पर सभी ने सहमति जताई। इसके तहत झाबुआ में एक सिकलसेल एनीमिया केंद्र खोला जाएगा। इस केंद्र में वहां के लोगों की जांच की जाएगी। अगर कोई मरीज सिकलसेल से पीड़ित होता है, तो उसका इलाज करवाया जाएगा।
बैठक में अनियमितताओं के मामले उठे, जांच के बाद होगी कठोर कार्रवाई
बैठक में विश्वविद्यालय के बाहर से कापियां प्रिंट करवाने का भी मुद्दा उठाया गया। कहा गया कि जब विश्वविद्यालय की खुद की प्रिंटिंग प्रेस है तो बाहर से कापियां कुछ प्रिंट करवाई जाती हैं। इस पर कुलपति रेणु जैन ने कहा कि प्रिंटिंग प्रेस में कर्मचारियों की कमी है और परीक्षाएं सिर पर हैं, इसीलिए कापियों को बाहर से प्रिंट करवाया जा रहा है। कार्यपरिषद सदस्य अनंत पंवार ने कहा कि आइईटी कैंपस के क्वार्टर में रहने वाले कर्मचारियों का दस वर्ष से बिजली का बिल विश्वविद्यालय के खजाने से भरा जा रहा है। यह आर्थिक अनियमितता है। इस पर कार्रवाई क्यों नहीं हो रही है। रजिस्ट्रार अजय वर्मा ने कहा कि जांच कमेटी बनाई है, जल्द कठोर कार्रवाई की जाएगी।
डीएवीवी विजन-2030
मध्य प्रदेश में नई शिक्षा नीति 2020 में ही लागू हो चुकी है, लेकिन अभी भी इसके क्रियान्वयन को लेकर अभी भी समस्याएं आ रही हैं। इसी को ध्यान में रखते हुए डीएवीवी विजन-2030 सेल बनाया जाएगा। इस सेल द्वारा कालेजों के प्राचार्यों के साथ समय-समय पर कार्यशालाएं आयोजित की जाएंगी, ताकि विद्यार्थियों और कालेजों के लिए क्या जरूरी है। नई शिक्षा नीति में क्या बदलाव है, कोर्सेस, विषय आदि के बारे में जानकारी दी जा सके। नई शिक्षा नीति का सही ढंग से क्रियान्वयन करने में मदद मिलेगी। इसका संचालन डा. एके द्विवेदी एवं आइक्यूएसी सेल के निदेशक डा. प्रतोष बंसल करेंगे।